जीएसटी से प्रदेश सरकार को भारी राजस्व घाटा हो रहा है। शुक्रवार को वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल से मुलाकात कर उत्तराखंड में जीएसटी से संबंधित मुद्दों को उठाया। उन्होंने कहा कि जीएसटी के कारण राज्य को करोड़ों का घाटा उठाना पड़ रहा है। शुक्रवार को पार्लियामेंट हाउस में वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने केंद्रीय मंत्री को अवगत कराया कि जीएसटीलागू होने से पहले उत्तराखंड में संयुक्त टैक्स कलेक्शन से सरकार को 8336 करोड़ का राजस्व मिल रहा था। जीएसटी के बाद राज्य में टैक्स कलेक्शन में 168 प्रतिशत बढ़ोतरी हुई है। जीएसटी में 15139 करोड़ का टैक्स एकत्रित हो रहा है। राज्य को सेटलमेंट के बाद मात्र 3701 करोड़ मिला है। यह प्री जीएसटी से 29 प्रतिशत कम है। वित्त मंत्री ने कहा कि उत्तराखंड नया राज्य होने के साथ ही समय-समय पर होने वाली आपदा की घटनाओं से अर्थव्यवस्था को सुचारू बनाए रखने में सरकार को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
एमएसएमई सेक्टर के छोटे उद्यमियों को जीएसटी में आ रही समस्याओं के समाधान पर विचार किया जाए। वर्तमान जीएसटी के टैक्स स्लैब से राज्य में एमएसएमई क्षेत्र में सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ है।
छोटे बिस्कुट उद्योग जो 100 रुपये प्रति किलो या उससे कम पर अपने उत्पाद बेचते हैं। वे 18 प्रतिशत जीएसटी की दर पर ब्रांडेड कंपनियों के साथ प्रतिस्पर्धा नहीं कर पा रहे हैं। पंत ने केंद्रीय मंत्री से मांग की है कि बिस्कुट इंडस्ट्री के लिए पांच प्रतिशत टैक्स स्लैब निर्धारित किया जाए। केंद्रीय मंत्री ने राज्य के प्रस्तावों पर परीक्षण कराने के साथ ही शनिवार को होने वाली जीएसटी काउंसिल की बैठक में विस्तृत चर्चा करने का आश्वासन दिया। इस मौके पर राज्य कर आयुक्त सौजन्या, संयुक्त आयुक्त राज्य कर राकेश वर्मा आदि मौजूद थे।